Thursday, 18 May 2023

निवानो पुरस्कार मिलने पर गांधीवादी राजगोपाल पी.व्ही. का हुआ अभिनंदन

 *अंतर्राष्ट्रीय निवानो शांति पुरुस्कार ने बढ़ाई देश की प्रतिष्ठा--राजेन्द्र सिंह

दिल्ली.अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिष्ठित निवानो शांति पुरस्कार गांधीवादी चिंतक राजगोपाल पी.व्ही.को दिये जाने से देश की साथ महात्मा गांधी के विचारों का महत्व बढ़ा है. महात्मा गांधी के विचारों और उनके काम को देश और दुनियाभर में आगे बढ़ाने में जापान सरकार का यह निर्णय ऐतिहासिक साबित होगा.

    उपरोक्त उद्गार एकता परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं महात्मा गांधी सेवा आश्रम जौरा के सचिव डा.रनसिंह परमार ने व्यक्त किए.परमार आज दोपहर निवानो शांति पुरस्कार प्राप्त करने पर गांधी शांति प्रतिष्ठान में आयोजित राजगोपाल पी.व्ही.के सम्मान समारोह को संबोधित कर रहे थे.

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए जल पुरुष राजेंद्र सिंह जी ने कहा के जापान सरकार ने हमारे शांति प्रयासों को पहचान कर उन्हें महत्व देते हुए सम्मानित किया. इसके लिए जापान सरकार भी बधाई की पात्र है.

उल्लेखनीय है कि हाल ही में शांति स्थापना के प्रयासों के लिए जापान सरकार द्वारा शांति के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिष्ठित निवानो पुरस्कार गांधीवादी चिंतक राजगोपाल पी.व्ही. को दिया गया है. महात्मा गांधी के आदर्शों पर देश और दुनिया में शांति स्थापित करने के लिए

गांधीवादी  राजगोपाल की जीवन यात्रा में सेवा के की ऐतिहासिक मुकाम रहे हैं. वह चाहे चंबल में 1972कराया गया ऐतिहासिक सामूहिक बाग़ी समर्पण हो चाहे ग़रीब वंचित जनजीवन के लिए उनके आजीविका के अधिकार के लिए अहिंसात्मक ढंग से चलाए गए संघर्ष की दास्तां हो राजू भाई हमेशा प्रतिबद्ध साहब पूर्वक गरीबों के हक की लड़ाई लड़ते नजर आए हैं.

कार्यक्रम का आगाज रेखा बहन द्वारा गणेश ग्राम श्री राम स्तुति गाकर किया गया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए राजगोपाल पी.व्ही.ने कहा कि आज देश और दुनिया को महात्मा गांधी और उनके विचारों का अनुसरण करने की बहुत आवश्यकता है। दुनिया के लोग मानते हैं कि महात्मा गांधी के विचारों पर चलकर हम सभी प्रकार की समस्याओं का समाधान पा सकते हैं.

अपने  उद्बोधन में राजगोपाल ने कहा कि मनुष्य के साथ धरती से पर्यावरण जैसी हिंसा पर गंभीरता से विचार करना होगा क्योंकि हवा,पानी का बगैर सोचे समझे दुरूपयोग कर वायुमंडल को बर्बाद कर रहे हैं. इस कारण हमारी आनेवाली पीढ़ी के जीवन की चुनौतियां एवं संघर्ष बढ़ रहा है. उन्होंने कहा कि मुझे जो पुरस्कार मिला है उसका समाज में व्याप्त सामाजिक चुनौतियों को दूर करने में किया जाएगा. पी.व्ही. राजगोपाल ने अपने उद्बोधन में इस बात पर हैरानी व्यक्त की कि जहां दुनिया में महात्मा गांधी और उनके विचारों की आवश्यकता महसूस करते हुए उसके महत्व दिया जा रहा है. वहीं देश में कुछ लोग महात्मा गांधी के विचारों को दुर्भावना पूर्वक कुचलने में लगे हैं. कार्यक्रम में देशभर से आये गांधीवादी एवं राष्ट्रीय युवा योजना के पदाधिकारी कार्यकर्ता देशभर के जन संगठनों के प्रतिनिधियों ने पी.व्ही. राजगोपाल को नवीन को पुरस्कार दिए जाने पर बधाई देकर सम्मानित किया.

कार्यक्रम में विजय भाई यतीश भाई पूर्व विधायक महेशदत्त मिश्र,हनुमान भाई, अनीश भाई,शीतल जैन, हनुमान देसाई,आसमा भाई सुभाष मवई,के.एल.गुप्ता, जगदीश शुक्ला वरिष्ठ पत्रकार  आदि विशेष रूप से उपस्थित रहे.

कार्यक्रम के अंत में नरेंद्र भाई के निर्देशन में भारत की संतान बहुभाषी नृत्य नाटिका नाटिका का मंचन किया गया जिसे दर्शकों ने जमकर सराहा. कार्यक्रम का संचालन मधु भाई ने किया.

जन संगठन एकता परिषद के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रदीप प्रियदर्शी ने कहा  कि भारत से गांधीवादी एवं सर्वोदय नेता पी. व्ही. राजगोपाल और ख्याति प्राप्त महिला नेत्री जिल कार हैरिस 02 मई को जापान गए थे.11 मई को जापान की राजधानी टोक्यो में निवानो पीस अवार्ड से आदरणीय राजगोपाल सम्मानित किए गए.जापान से राजगोपाल भारत 16 मई को आए.भारत आने के बाद 18 मई को गांधी शांति प्रतिष्ठान, दीन दयाल उपाध्याय मार्ग,नई दिल्ली  में राष्ट्रीय युवा योजना के तत्वावधान में  गांधीवादी एवं सर्वोदय नेता पी. व्ही. राजगोपाल जी को सम्मानित किया गया.

          राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रदीप प्रियदर्शी ने कहा  कि एकता परिषद के संस्थापक हैं पी. व्ही. राजगोपाल.वे प्रसिद्ध गांधीवादी एवं सर्वोदयी नेता हैं.खासकर समाज के हाशिए पर ठहर जाने वाले लोगों के बीच में कार्य करने में माहिर नेता हैं.उनके व्यक्तित्व और कृतित्व के कारण ही राजगोपाल अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त शांति पुरस्कार निवानो से नवाजे गए हैं.

    आगे राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रदीप प्रियदर्शी ने कहा  कि निवानो पीस फाउंडेशन जापान के अध्यक्ष रेव निचीको निवानो और डा.फलेमिनिया गिओवनेली के द्वारा आदरणीय राजगोपाल जी को निवानो पीस अवार्ड दिया गया.बतौर पुरस्कार के रूप में 1.22 करोड़ की राशि दी गई.मौके पर दुनिया के कई देशों के पुरस्कार प्राप्त लोग पहुंचे थे. यह 40 वां निवानो पीस अवार्ड समारोह था.

आलोक कुमार

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