गया।
बिहार में काबिज
जमीन का पर्चा
बनवाने और दाखिल
खारिज करवाने के
लिए कार्यालय में
मैराथन दौड़ लगाकर
थक जाने वालों
को खुशखबरी है।
अब आपको दौड़
लगाने की जरूरत
नहीं है। अब
आपके द्वार गैर
सरकारी संस्थाओं के कार्यकर्ता
जाकर वासभूमि का
पर्चा और परवाना
के लिए आवेदन
पत्र भर देंगे।
इस मामले को
लेकर खुद ही
संबंधित अधिकारियों से जन
सरोकार के कार्य
करने के लिए
पैरवी भी करेंगे।
बिहार सरकार ने कर रखी है घोषणाः बिहार
सरकार
ने
कहा
है
कि
ऐसे
लोग
जो
जमीन
पर
काबिज
हैं।
मगर
जमीन
का
सरकारी
कागजात
नहीं
है।
ऐसे
लोगों
को
जमीन
का
पर्चा
दिया
जाएगा।
उपेक्षित
लोगों
को
सरकार
मालिकाना
हक
देगी।
इस
तरह
के
जन
सरोकारों
को
लेकर
सरकार
ने
त्वरित
कार्रवाई
करने
के
लिए
राजस्व
एवं
भूमि
सुधार
विभाग
के
प्रधान
सचिव
श्री
व्याज
जी
की
अध्यक्षता
में
कमिटी
गठित
की
है।
इस
कमिटी
में
सरकारी
और
गैर
सरकारी
संस्थाओं
के
कर्तव्यनिष्ट
कार्यकर्ताओं
को
शामिल
किया
गया
हैं।
अब
इन
लोगों
का
प्रयास
हो
रहा
है
कि
जल्द
से
जल्द
जन
भागीदारी
प्राप्त
करके
वासभूमि
का
पर्चा
और
परवाना
के
लिए
आवेदन
पत्र
भर
कर
दिया
जाए।
इन
भरे
आवेदन
पत्रों
को
सीओ
को
वासभूमि
का
पर्चा
देने
के
लिए
और
राजस्व
भूमि
उप
समाहर्ता
को
परवाना
देने के लिए दिया जाएगा। दोनों
अधिकारियों
के
द्वारा
समुचित
पड़ताल
करके
सरकारी
कागजात
बना
दिया
जाएगा।
सरकारी
कागजात
पत्नी
और
पति
के
नाम
से
संयुक्त
पर्चा
बनेगा।
प्रगति ग्रामीण विकास समिति के प्रगतिमय कार्यः गैर
सरकारी संस्था प्रगति ग्रामीण
विकास समिति ने
अभी - अभी समिति
के 25 साल पूरा
होने के अवसर
पर सिल्वर जुबली
मनाया है। लगे
हाथ सरकारी घोषणाओं
को अमलीजामा पहनाने
का संकल्प किया
है। 25 हजार आवेदन
तैयार किया गया
है। इस आवेदनों
को गांवघर के
पर्चाहीन लोगों का आवेदन
तैयार किया जाएगा।
इस ओर निर्धनतम
क्षेत्र नागरिक समाज का
भी योगदान रहा
है। जो अधिकारियों
के साथ मिलकर
वातावरण तैयार किया है।
गया जिले के
डीएम डी . बालामुरूगम
से भी बातचीत
करके कार्ययोजना बना
ली गयी है।
21
जिलों में प्रगति ग्रामीण विकास समिति के कार्यकर्ता आवेदन भरने लगेः प्रगति
ग्रामीण
विकास
सतिति
के
कार्य
जिले
गया ,
अरवल ,
जहानाबाद ,
नालंदा ,
जमुई ,
बांका ,
सहरसा ,
मधेपुरा ,
अररिया ,
कटिहार ,
दरभंगा ,
मुजफ्फरपुर ,
पूर्वी
चम्पारण ,
पश्चिमी
चम्पारण ,
पटना ,
भोजपुर ,
बक्सर
आदि
जिले
के
कार्यकर्तागण
आवेदन
भरना
शुरू
कर
दिए
हैं।
इस
आवेदन
प्रपत्र
में
नाम
के
साथ
विवरण
देना
है।वासभूमि
का
प्रकार
लिखना
है।
इस
भूमि
का
रकवा , खाता
नं .,
भूमि
मालिक
का
नाम ,
थाना
नं ., राजस्व
गांव ,
पंचायत ,
अंचल / प्रखंड ,
जिला ,
वास
की
अवधि ,
मतदाता
सूची
का
विवरण
और
राशन
कार्ड
का
विवरण
देकर
आवेदक
हस्ताक्षर
लेना
है।
गांवधर
में
बैठकर
समिति
के
कार्यकर्ता
नागेन्द
कुमार
आवेदन
प्रपत्र
भरना
शुरू
कर
दिए
हैं।
Alok
Kumar
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