पटना।
जन
सत्याग्रह
के
महानायक
पी . व्ही . राजगोपाल
और
केन्द्रीय
सरकार
के
प्रतिनिधि
जयराम
रमेश
के
संग
जन
सत्याग्रह
2012 सत्याग्रह
पदयात्रा
के
दौरान
ऐतिहासिक
समझौता
के
बाद
पहली
बार
एकता
परिषद
की
महिला
नेत्रियों
का
जमावाड़ा
ग्वालियर
में
27 से
29 अप्रैल
तक
होने
जा
रहा
है।
इस
बात
की
जानकारी
एकता
परिषद
बिहार
की
संचालन
समिति
की
सदस्य
मंजू
डूंगडूंग
ने
जानकारी
दी
है
।
आगे
पुष्पा
सिंह
के
हवाले
से
मंजू
डुंगडुंग
ने
कहा
कि
जन
सत्याग्रह
के
पश्चात
हम
सब
बहनों
को
एक
साथ
बैठने
का
अवसर
नहीं
मिल
पाया
है।
जन
सत्याग्रह
के
दौरान
हम
सब
एक
साथ
थे
और
उर्जा
का
प्रवाह
निरंतर
बना
हुआ
था।
उसी
उर्जा
को
पुनः
प्राप्त
करने
के
लिए
27 से
29 अप्रैल
2014 को
ग्वालियर
रिर्सोसे
सेंटर
में
राजाजी
के
सानिध्य
में
एक
बैठक
आयोहित
होने
जा
रही
है।
इस
बैठक
को
आयोजित
करने
का
निर्णय
राष्ट्रीय
संचालन
समिति
की
बैठक
29 से
31 मार्च
2014 पारसनाथ ,
झारखंड
में
लिया
गया।
बैठक
का
मुख्य
उद्देश्य
है - ' राजाजी
से
अहिंसात्मक
प्रशिक्षण
प्राप्त
कर
स्वयं
के
जीवन
एवं
सामाजिक
जीवन ( संगठनात्मक ) में व्यवस्थित ढंग
से
लागू
करना ' । महिला
मंच
का
पुर्नगठन
एवं
भावी
स्वरूप
तय
करना।
सक्रिय
एवं
द्वितीय
लीडरशाीप
को
चिन्हित
कर
आगे
बढ़ाना ,
संगठन
का
भावी
स्वरूप , ग्रामवापसी
अभियान , जय जगत
20-20, एकता
परिषद
रजत
जयंती
वर्ष ,
महिला
आर्थिक
समूह
को
सशक्त
बनाकर
महिलाओं
को
स्वावलम्बी
बनाना।
इन
सभी
कार्यों
में
महिलाओं
की
भागीदारी
एवं
भूमिका
को
सुनिश्चित
करना।
उपरोक्त
उद्देश्य
को
ध्यान
में
रखते
हुए
हमने
कुछ
नई
और
वशिष्ठ
बहनों
के
नाम
को
चिन्हित
किया
है।
इनका
नाम
मध्यप्रदेश
की
पुष्पा
सिंह ,
श्रद्धा
कश्यप ,
अनीता ,
झाबुआ ,
दुर्गा ,
मालवा ,
शोभा
बहन ,
चन्द्रकांता ,
सुशीला ,
सभी
3 महाकौशल
की ,
कस्तुरी
बहन ,
अनुभा
बहन , सुषमा
बहन ,
कुन्ती
बहन ,
राजकली
बहन ,
सभी
5 बुंदेलखंड
की ,
सरोज
बहन ,
सीधी ,
कृष्णा
बहन ,
शबनम
बहन , कल्पना
बहन ,
राजकुमारी
बहन
सभी
4 चम्बल
की
और
विमला ,
मध्यप्रदेश
की
शामिल
होंगी।
छत्तीसगढ़
की
जानकी
बहन , मीना
वर्मा
बहन ,
विरोहित
बहन ,
अम्बिका
बहन ,
मीना
कुलदीप , सत्यवती
बहन ,
सरोजनी
और
भानू
पटेल
शामिल
होंगी।
उत्तरप्रदेश
की
सावित्री ,
केशरबाई
और
मुन्नीबाई
भी
शामिल
होंगी।
झारखंड
की
लक्ष्मी ,
इमलिया ,
सुभद्रा ,
सुनीता
देवी
और
देवन्ती
देवी
जा
रही
हैं।
बिहार
की
मंजू
डूंगडूंग ,
सिंधु
सिन्हा ,
देवन्ती
देवी
और
मीना
देवी
जा
रही
हैं।
उड़ीसा
विष्णु ,
स्नेहा ,
डॉली
और
विभिनिका
भी
जा
रही
हैं।
मणिपुर
की
विघारानी ,
असम
की
नीलिमा , तारा , केरल , तमिलनाडु
की
थेरेसा ,
प्रेमा
और
गुजरात
की
जयश्री
जा
रही
हैं।
जो
इन
जवाबदेही
को
निष्ठापूर्वक
निभाते
हुए
संगठन
में
महिलाओं
की
सशक्त
एवं
संपूर्ण
भागीदारी
को
सुनिश्चित
करने
में
एक
महत्वपूर्ण
भूमिका
निभायेंगी।
इस
बैठक
में
आने
वाली
बहनें
दूरगामी
सोच
और
मुख्य
जिम्मेदारी
निभाने
की
तैयारी
के
साथ
आयें ,
यह
निवेदन
पुष्पा
सिंह
ने
की
हैं।
हमने
जिन
बहनों
के
नाम
चिन्हित
किये
हैं
उनके
अतिरिक्त
यदि
आप
अन्य
बहनों
का
नाम
सुझाना
चाहते
हैं
तो
शीघ्र
ही
सूचित
करें ,
ताकि
उन्हें
भी
इस
प्रक्रिया
में
जोड़ा
जा
सकें।
इस
बैठक
में
बहनों
की
अधिकतम
संख्या
40 से
45 के
आसपास
हो
सकती
है।
क्योंकि
यही
बहनें
वापस
जाकर
अन्य
बहनों
के
साथ
संवाद , प्रशिक्षण , फील्ड
विजिट ,
अनुभवों
का
आदान - प्रदान
जैसी
प्रक्रियाएं
अपनाकर
महिलाओं
को
सशक्त
कर
नेतृत्व
में
लाने
की
भूमिका
निभायेंगी ,
और
संगठन
की
ताकत
बनेंगी।
आप
यदि
कोई
सुझाव
देना
चाहती
हैं
तो
शीघ्र
ही
दीजिएगा।
आप
सभी
का
स्वागत
है।
उम्मीद
है
गरीबों
को
न्याय
और
अधिकार
दिलाने
के
सपने
को
साकार
करने
की
दिशा
में
हम
अवश्य
सफल
होंगे।
Alok
Kumar
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