Wednesday 5 November 2014

वनाधिकार 2006 कानून को मुस्तैदी से लागू करने का संकल्प



फतेहपुर प्रखंड के सी.ओ. ने कहा

फतेहपुर। गया जिले के फतेहपुर प्रखंड के गिद्धनी गांव के गुरपा जंगल में आदिम जाति के लोग रहते हैं। प्राकृतिक संसाधन जल,जंगल और जमीन का भरपूर उपयोग कर रहे हैं। पहाड़ से गिरने वाला पानी पीते हैं। गुरपा जंगल में रहते हैं और वनभूमि की जमीन पर खेती करते है।

झारखंड और बिहार के बॉडर पर आदिम जाति के लोग रहते हैं। जब एक एन.जी.ओ.के सदस्य गिद्धनी गांव में अभ्यागमन करने गए। तब आदिम जातियों की स्थिति को देखकर दंग रह गए। आदिम जाति के लोग पहाड़ से गिरने वाले पानी को गड्ढे में जमा करते।इसके बाद पानी का व्यवहार घरेलू कार्य और पीने के लिए करते।एन.जी.ओ. के कार्यकर्ता शत्रुघ्न कुमार के प्रयास से पहाड़ से गिरने वाले पानी की जांच करवायी गयी। इस पानी में प्रचुर मात्रा में फ्लोराइड निकला। 

वर्ष 2012 में सम्मानित अखबार ‘संमार्ग’ ने आदिम जातियों की हालात पर विस्तृत रिपोर्ट प्रकाशित कर कुंभकरण की नींद पर रहने वाले प्रशासन और जन प्रतिनिधियों को हिला दिया। इस ब्रेकिंग न्यूज के बाद गिद्धनी गांव और आदिम जातियों के बारे में पत्र-पत्रिकाओं में खबर प्रकाशित होने लगी। इनमें पाक्षिक सरस सलील,मासिक तापमान, मासिक पंचायत संदेश आदि उल्लेखनीय है। 

इस संदर्भ में फतेहपुर अंचल के अंचलाधिकारी शैलेष कच्छप ने कहा कि उपेक्षित गांव की खबर से वाकिफ हूं। यहां पर एनजीओ वाले कार्यशील हैं। अभी बीडीओ साहब ने चापाकल लगा दिए है। परिचय पत्र बना दिया है। इन लोगों को स्व रोजगार के तहत बकरी दिया गया है। उन्होंने स्पष्ट तौर पर कहा कि आदिम जातियों को वनाधिकार 2006 कानून के तहत वनभूमि पर अधिकार दिलवाया जाएगा। इन लोगों के द्वारा प्रेषित आवेदनों पर विचार होगा और जल्द से जल्द वनाधिकार कानून से लाभ दिलवाया जाएगा।

सी.ओ. शैलेष कच्छप कहते हैं कि आवासीय भूमिहीनों को सरकारी मापदंड के अनुसार जमीन दी जाएगी। जिन आवासीय भूमिहीनों को जमीन मिली। मगर जमीन पर कब्जा नहीं हो सका। उनको जमीन पर कब्जा दिलवाया जाएगा। वासगीत पर्चा का वितरण किया जाएगा। इसमें एनजीओ का सहयोग लिया जा रहा है। जिनको वासगीत पर्चा नहीं मिला है। ऐसे लोगों की सूची एनजीओ के लोग बना रहे हैं। हर हाल में मार्च 2015 तक वासगीत पर्चा निर्गत कर दिया जाएगा। 

मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी और राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के प्रधान सचिव के दिशा निर्देशानुसार ऑपरेशन बसेरा को सफल बनाना है। इस बाबत रणनीति बना ली गयी है।

आलोक कुमार

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