अब साप्ताहिक बैठक करके मुखिया जी को सरकार को प्रतिवेदन प्रेषित करना होगा

स्थानीय ए.एन.सिन्हा समाज अध्ययन संस्थान,पटना में पैक्स के द्वारा मनरेगा अभियान के तहत सामाजिक अंकेक्षण के अनुभवों को साझा करने हेतु राज्यस्तरीय सम्मेलन में बिहार सरकार के ग्रामीण विकास विभाग के अपर सचिव मिथिलेश कुमार सिंह ने आगे कहा कि मनरेगा में ग्राम पंचायत को महत्वपूर्ण करार दिया है। दुर्भाग्य से ग्राम पंचायत को मुखिया जी हड़प लिये हैं। अपने मनमर्जी से मनरेगा को चलाने लगे हैं। मुखिया जी के द्वारा पंचायत रोजगार सेवक पर धौंस जमाया जाता है। इसके कारण पंचायत रोजगार सेवक मुखिया जी के सेवक बनकर रह जाता है। उसको तो जनता का सेवक बनना चाहिए। विशेषकर श्रमिकों को रोजगार उपलब्ध कराने एवं कार्य को सुचारूढंग से समाप्त करवाना है। इसके आलोक में अब मुखिया जी को साप्ताहिक कार्यकारिणी समिति की बैठक करनी है। इसमें सभी वार्ड के 16 सदस्यों की उपस्थिति अनिवार्य कर दी गयी है। इस बैठक की रिपोर्ट सरकार को प्रेषित करनी है।
इस अवसर पर गैर सरकारी संस्था ईजाद की सचिव अख्तरी बेगम ने कहा कि सरकारी आदेशानुसार मुखिया जी को गणतंत्र दिवस 26 जनवरी, मजदूर दिवस 1 मई, स्वतंत्र दिवस 15 अगस्त और राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के जन्मदिवस पर 2 अक्तूबर को ग्राम सभा करनी है। सच्चाई यह है कि 80 प्रतिषत मुखिया जी ग्राम सभा बुलाते नहीं हैं केवल कागजी कार्रवाई कर लेते हैं।
वहीं पश्चिम चम्पारण से आयी कविता कुमारी का कहना है कि सामाजिक अंकेक्षण के दौरान दस्तावेज उपलब्ध नहीं करवाया गया। वहीं जिलाधिकारी, उप विकास आयुक्त आदि के निर्गत आदेश को ठेंगा दिखाकर कार्यक्रम पदाधिकारी, पंचायत रोजगार सेवक आदि सामाजिक अंकेक्षण के समय मौजूद नहीं हुए। संडे होने के कारण नहीं आये।
सामाजिक अंकेक्षण के पदाधिकारी सुरेन्द्र सान्याल ने कहा कि ग्रामीण विकास के प्रधान सचिव के आदेश पर एमआईएस को मजबूत किया जा रहा है। अब वहीं से अंकेक्षण करने लायक जानकारी मिल जाएगी।
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