पटना
सिटी। यूपीए सरकार
के कार्यकाल में
चर्च को पर्यटक
स्थल का दर्जा
मिला। इसका श्रेय
बिहार प्रदेश कांग्रेस
कमिटी के अल्पसंख्यक
प्रकोष्ठ के समन्वयक
सिसिल साह को
जाता है। उन्होंने
लगातार यूपीए सरकार के
केन्द्रीय मंत्रियों के पास
पत्राचार करते रहें।
अन्ततः सन् 1620 में स्थापित
मां मरियम की
दर्शन का महागिरजाघर
को एक धार्मिक ,
ऐतिहासिक एवं पर्यटक
स्थल घोषित कर
दिया गया। यह
पटना सिटी में
अवस्थित है। एक
मुलाकात में पटना
सिटी पल्ली के
पल्ली पुरोहित फादर
जेराम अब्राहम ने
जानकारी दी।यह चर्च महागिरजाघर
है।
ऐतिहासिक एवं पर्यटक
स्थल देखने
लायक हैः पटना
सिटी पल्ली के
पल्ली पुरोहित फादर
जेरोम अब्राहम कापुचिन
धर्मसमाज के हैं।
इस धर्म समाज
के पुरोहित लोग
खुद ही प्रभु
येसु ख्रीस्त के
घर को साफ - सफाई करते
हैं। पल्ली पुरोहित
होने के बावजूद
भी ' झाड़ू ' लगाते
देखे गए। ऐसा
करने गर्वावन्वित महसूस
करते हैं। इनके
कार्यकाल में 394 साल पुराने
महागिरजाघर में सुधार
हुआ है। धार्मिक
भ्रमण के दौरान
जेरूसलेम से पवित्र
जल , जेरूसलेम की
मिट्टी , असीसी का पानी , रोम के
पत्थर , असीसी की
मिट्टी , असीसी के कैंडल
और पटना महाधर्मप्रांत
के प्रथम धर्माध्यक्ष
हार्टमन की लकड़ी
को व्यवस्थित ढंग
से चर्च में
रखा गया है।
पर्यटक आकर श्रद्धा
से देख पाते
हैं। पवित्र घंटा
है। जिसे बजाया
जाता है।
ईसाई
धर्मावलम्बिलयों का नेतृत्व
करने वाले फादर
अब्राहम ने कहाः
पटना सिटी के
पल्ली पुरोहित फादर
जेरोम अब्राहम ने
सूबे के चर्चों
में एकलौता चर्च
है। जो शानदार
ढंग से बना
है। अभी हाल
में मां मरियम
का ग्रोटो निर्माण
किया गया है।
मुख्यद्वार को आकर्षक
ढंग से बनाया
गया है। कुल
मिलाकर पटना महाधर्मप्रांत
के महाधर्माध्यक्ष विलियम
डिसूजा का सहयोग
प्राप्त हो रहा
है। इसके अलावे
पल्ली के लोगों
का योगदान मिल
रहा है। इस
चर्च की महिमा
और गरिमा को
देखकर ही बिहार
प्रदेश कांग्रेस कमिटी के
अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के समन्वयक
सिसिल साह ने
भारतीय पर्यटक स्थल के
मानचित्र में चर्च
को शामिल करवाने
में एड़ी - चोटी
के पसीना बहाकर
कामयाबी के शिखर
पर पहुंचा दिए।
Alok
Kumar
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