Thursday 14 July 2016

और न दहेज दिये और न दहेज लिये ही विवाह संपन्न



हर सीमाओं को इन नौजवानों ने दिखा दिया ठेंगा

खुद ही नयी जिन्दगी जीने की राह तलाश ली

पटना। दीघा थाना क्षेत्र के बांसकोठी में मंगलवार को मंगल-मंगल रहा। दो राही एक राह पर चल पड़े। किसी तरह की तामझाम नहीं और न ही किसी तरह की कोई विवाद। पहले कोर्ट में जाकर कोर्ट मैरेज किये। इसके बाद मंदिर (कुर्जी) में आकर विवाही रस्म अदायगी किये। 

जी हां, कुछ ऐसी ही हुआ। बांसकोठी के लोग 12 जुलाई 2016 को अन्तरजातीय और अन्तरधार्मिक विवाह का गवाह बने। राजू कुमार और सीमा कुमारी परिणय सूत्र में बंधे। किसी तरह की दहेज और तिलक की मांग नहीं। वर और वधु के परिवार के लोग कोर्ट गये। वहां पर सारी औपचारिकता निर्वाह करने के बाद नोटरी बिहार ने वैवाहिक संबंध स्थापित (विवाह) हो जाने की मुहर लगा दी। मौके पर उपस्थित लोगों ने नवदम्पतियों को हार्दिक बधाई और कुशल जीवन की शुभकामनाएं व्यक्त किये। पैक्स के कार्यालय सहायक थे राजू कुमार(21 वर्ष)। बी0ए0उर्त्तीण हैं।वहीं महावीर वात्सल्य अस्पताल में सीमा कुमारी (21 वर्ष) कार्यरत हैं। ए0एन0एम0 उर्त्तीण हैं। इस दहेजरहित विवाह में वर और वधु ने मिलकर 20 हजार रूपये खर्च किये।

आलोक कुमार
मखदुमपुर बगीचा,दीघा घाट,पटना।

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