Friday 28 November 2014

जहरयुक्त लिट्टी जानलेवा साबित


वार्ड पार्षद के घर में जाकर करेंगी मुआवजा की मांग

पटना। दीघा थाना क्षेत्र में रामजीचक नहर की पश्चिम ओर बिजेन्द्र सिंह नामक सिपाही रहते हैं। उसके पास परती जमीन है। नौकरी में रहने के कारण परती जमीन पर पैदावार नहीं कर सकता था। तब उसने बगल के ही राजू यादव को परती जमीन दे दी। उस जमीन पर राजू यादव पैदावार करना शुरू कर दिए। अभी उसने परती जमीन को खोदकर पालक लगा दिया है। किसी व्यक्ति को राजू यादव ने पालक साग की रखवाली करने के लिए रखा नहीं। तीन तरफ से दीवार है। एक तरफ की दीवार खुली है। आसानी से रखवाली की जा सकती है।जो उसने नहीं किया और ऐसा काम कर दिया कि मानवता शर्मशार हो गया। उसने घर में ही जहरयुक्त लिट्टी बनाया। उसके बाद लिट्टी को हरियाली घास पर रख दिया। जहरयुक्त लिट्टी खाने से एक बकरी की मौत हो गयी।

रामजीचक नहर पर मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के संगे रहते हैं। मुसहर समुदाय के बच्चे रद्दी कागज भी चुनने जाते हैं। भगवान को धन्यवाद है।हरियाली घास पर रखे जानलेवा लिट्टी के सर्म्पक में रद्दी कागज चुनने वाले बच्चे नहीं आए। जानलेवा लिट्टी के चक्कर में बकरी पर गयी। राजू मांझी और रेणु देवी की बकरी चरने के लिए गयी थी। उसने पालक साग में मुंह नहीं मारा। हरियाली घास पर पड़े लिट्टी से मोहभंग नहीं कर सकी। एक लिट्टी में आधी लिट्टी को ही ग्रहण कर सकी। जहरयुक्त लिट्टी खाने के कुछ ही पल के बाद दम तोड़ दी।

महादलित मुसहर समुदाय की रेणु देवी कहती हैं कि हमलोग मजदूर वर्ग के हैं। सूअर और बकरी पालन करते हैं। जो बकरी मर है। वह सफेद रंग की थीं। वह हर समय तीन बच्चों को जन्म देती हैं। अभी वह बकरी गर्भवती है। अनुमान लगया जा रहा है। इस बार भी तीन बच्चों को ही जन्म देगी। उसकी कीमत लगभग तीन हजार रूपए आकी गयी। जहरयुक्त लिट्टी देने वाले इंसान ने बेजुबान जानवर की हत्या कर दी है। एक बकरी गर्भवती मर गयी। इस तरह जहरयुक्त लिट्टी देने दोहरी हत्या की दी है।

महादलित रेणु देवी कहती हैं कि दानापुर निजामत नगरपालिका के वार्ड पार्षद के घर जाएंगी। उनसे वस्तुस्थिति की जानकारी देंगे। प्लास्टिक में चार लिट्टी है। उस जहरयुक्त लिट्टी को दिखाकर मुआवजा की मांग करेंगे।


आलोक कुमार

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