Wednesday, 24 July 2013

सिर्फ दो साल के अंदर ही ढीले पड़ गये प्रधानमंत्री को चुस्त बनाने का प्रयास होगा

अन्तर्राष्ट्रीय श्रम सम्मेलन-189 की 100 वीं बैठक के दौरान घरेलू कामगारों के हित में कदम उठाया

भारत भी घरेलू कामगारों के उचित काम वाले प्रस्ताव का समर्थन किया


पटना। जेनिवा में अन्तर्राष्ट्रीय श्रम सम्मेलन-189 की 100 वीं बैठक 16 जून,2011 को आयोजित की गयी। इस शतकीय बैठक में महत्वपूर्ण निर्णय लेकर केवल इतिहास ही नहीं रचा परन्तु दुनियाभर के कामगारों के लिए सम्मेलन ने दिशा - निर्देश भी बना डाला। बताते चले कि अन्तर्राष्ट्रीय श्रम संगठन ने सम्मेलन-189 में घरेलू कामगारों के उचित काम के लिए स्वीकार किया। भारत के समर्थन के साथ 396 वोट हासिल हुआ। इसके विरोध में सिर्फ 16 और 63 प्रतिनिधियों ने स्वयं को दरकिनार कर लिये। इस ऐतिहासिक क्षण में दुनिया के लिए और यह कम से कम एक अरब कामगारों के  जीवन में परिवर्तन लाएगी।

सम्मेलन ने दिशा- निर्देश जारी किया-
अनुच्छेद-1 के () घरेलू काम- अर्थात किसी के घर/घरों में/के लिए काम। () घरेलू कामगार- रोजगार संबंध जैसा घरेलू कामगार या कोई व्यक्ति के साथ व्यवहार होना चाहिए। अनुच्छेद-2 यह सम्मेलन सभी घरेलू कामगारों पर लागू होता है। अनुच्छेद-3 के () हर सदस्य देश को सह यह व्यवस्था करना है कि घरेलू कामगारों की मौलिक अधिकार , जैसे-सभा करने की आजादी और अधिकार का प्रभावी पहचान,सामूहिक समझौता के लिए। () अनिवार्य या बंधुआ श्रम हटाना। () पेशा या रोजगार नाम से शोषण को हटाना। अनुच्छेद -5 में किसी तरह का दुर्व्यवहार, उत्पीड़न,हिंसा से घरेलू कामगार की सुरक्षा। अनुच्छेद-7 में काम की लिखित अनुबंध राष्ट्रीय श्रम विधि अनुसार जिसमें () मालिक, कामगार का नाम पता, () काम के जगह/जगहों का नाम() अनुबंध चालू की तिथि, अवधि() काम का प्रकार और समय/अवधि(.) कितना वेतन एवं भुगतान करने का समय () वेतन के साथ वार्षिक और साप्तहिक छुट्टी () खाना और रहने का उचित जगह () परख-अवधि, यदि हो() काम समाप्त करने/कराने का सूचना घरेलू कामगार को देना  होगा। अनुच्छेद-9 के () घरेलू कामगार को मालिक के साथ समझौता करने की स्वतंत्रता है कि वह मालिक घर या दूसरी जगह आवास करेगी/ करेगा। () घरेलू कामगार को आराम के समय मालिक घर में रहने का बाध्य नहीं। अनुच्छेद-10 के (घरेलू कामगारों की तरह काम करने का सामान्य अवधि, अधिसमय काम का वेतन, सलाना, साप्ताहिक/रोजाना आराम। छुट्टी वेतन के साथ राष्ट्रीय श्रम विधि के अनुसार तय करना। () साप्ताहिक छुट्टी की अवधि कम से कम चौबीस घंटो का होना है। () घरेलू कामगार जब अपने काम के लिए स्वतंत्र हो और उनसे काम कराया तो उसको काम की अवधि माना जायेगा। अनुच्छेद-13 में हर एक घरेलू कामगार को यह अधिकार है कि वह सुरक्षित एवं स्वास्थ्य वातावरण में काम करें।

आलोक कुमार